नई दिल्ली/लखनऊ: उत्तर प्रदेश की राजधानी लखनऊ में आज भारत की सामरिक शक्ति को नया आयाम देते हुए ब्रह्मोस सुपरसोनिक क्रूज मिसाइल की उत्पादन इकाई का उद्घाटन किया जाएगा। यह महत्वपूर्ण कार्यक्रम यूपी डिफेंस इंडस्ट्रियल कॉरिडोर के अंतर्गत लखनऊ नोड पर संपन्न होगा, जहां रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने दिल्ली से डिजिटल माध्यम से समारोह में भाग लेंगे और मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के साथ मिलकर परियोजनाओं का शुभारंभ करेंगे।
यह ब्रह्मोस उत्पादन इकाई 300 करोड़ रुपये की लागत से तैयार की गई है। इसे प्रदेश सरकार द्वारा मुफ्त प्रदान की गई 80 हेक्टेयर जमीन पर महज साढ़े तीन वर्षों में बनाया गया है। यह मिसाइल निर्माण इकाई भारत की रक्षा आत्मनिर्भरता की दिशा में एक बड़ा कदम है। खासतौर पर मौजूदा भारत-पाकिस्तान के तनावपूर्ण हालात में यह देश की सामरिक क्षमता को और सशक्त बनाएगी।
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ब्रह्मोस मिसाइल, भारत और रूस के साझा सहयोग का परिणाम है, जिसकी मारक क्षमता 290 से 400 किलोमीटर तक है और यह मैक 2.8 की गति से लक्ष्य भेदने में सक्षम है। यह मिसाइल जमीन, समुद्र और हवा से दागी जा सकती है और ‘फायर एंड फॉरगेट’ सिद्धांत पर कार्य करती है, जिससे यह शत्रु के रडार से बचते हुए सटीक लक्ष्य साध सकती है।
इस मौके पर दो और अहम परियोजनाओं का भी उद्घाटन होगा:
टाइटेनियम एंड सुपर एलॉय मैटेरियल्स प्लांट (स्ट्रैटेजिक मैटेरियल्स टेक्नोलॉजी कॉम्प्लेक्स):
यह अत्याधुनिक प्लांट एयरोस्पेस और डिफेंस सेक्टर के लिए उच्च गुणवत्ता वाली सामग्रियों का उत्पादन करेगा। इनका उपयोग चंद्रयान मिशन, मिसाइलों और लड़ाकू विमानों में किया जाएगा।
ब्रह्मोस एयरोस्पेस की इंटीग्रेशन एंड टेस्टिंग फैसिलिटी:
यह सुविधा ब्रह्मोस मिसाइलों के निर्माण के पश्चात उनके परीक्षण और इंटीग्रेशन में महत्वपूर्ण भूमिका निभाएगी।
इन परियोजनाओं के उद्घाटन से यूपी डिफेंस कॉरिडोर को नई ऊर्जा मिलेगी और लखनऊ वैश्विक रक्षा मानचित्र पर अपनी महत्वपूर्ण उपस्थिति दर्ज कराएगा।